दर्द

लिपट कर अपनी माँ से हर दर्द भूल जाता हूँ,
इस जन्नत में दुनियाँ का नर्क भूल जाता हूँ।।
राही अंजाना

Related Articles

प्यार अंधा होता है (Love Is Blind) सत्य पर आधारित Full Story

वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ। निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा॥ Anu Mehta’s Dairy About me परिचय (Introduction) नमस्‍कार दोस्‍तो, मेरा नाम अनु मेहता है। मैं…

Maa

🌹*मातृ दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं*🌹 💕 माँ- दुःख में सुख का एहसास है, माँ – हरपल मेरे आस पास है। माँ- घर की आत्मा है,…

Maa

हां बहुत से रिश्ते पाये है, मैंने अपने इस जीवन में कुछ में है प्यार, कुछ में है स्वार्थ, सामने वाले के मन में लेकिन…

फौजी

लिपट कर तुझसे तिरंगा भी रोया था उस पर मरने वाला आज उसमें ही घुसकर सोया था भारत माँ के सपूत ने चैन शान्ति बाँटी…

Responses

New Report

Close