योग गीत – करो निरोग काया |
21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस
की हार्दिक बधाई
योग गीत – करो निरोग काया |
ये योग साधना की है अजीब माया |
कभी बचाए कोरोना कभी करे निरोग काया |
कपालभाती और प्राणायाम की क्या तारीफ करे |
कर अनुलोम बियोम सांस अंदर बाहर करे |
करे मजबूत दिल पेट रोग जड़ से है भगाया |
कभी बचाए कोरोना कभी करे निरोग काया |
करो सूर्य नमस्कार शुबह हर अंग खिलाये |
करे सुंदर तनमन मानव मंद मुसकाए |
लगे बदन जैसे खिली धूप है नहाया है |
कभी बचाए कोरोना कभी करे निरोग काया |
योग ही ऐसा साधन जब चाहो तब कर लो |
नए पुराने रोगो जड़ से ही खतम कर लो |
चलो कर ले सब योग रोग कर लो सफाया |
कभी बचाए कोरोना कभी करे निरोग काया |
देव ऋषि मुनि नित्य योग किया करते थे |
बिन दवा उपचार के निरोग रहा करते थे |
देख योग की महिमा सारे विश्व ने अपनाया |
कभी बचाए कोरोना कभी करे निरोग काया |
श्याम कुँवर भारती (राजभर )
कवि/लेखक /समाजसेवी
बोकारो झारखंड ,मोब 9955509286
अच्छा
हार्दिक आभार आपका पंडित जी
nice
हार्दिक आभार
अच्छी है पर थोड़ा वर्तनी जांच लें सर।
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हार्दिक आभार
जी जरूर हार्दिक आभार आपका
जंग का ऐलान कविता पर कमेंट करें
nice
हार्दिक आभार
अच्छा है
हार्दिक आभार
जी जरूर हार्दिक आभार आपका
त्रुटियाँ हैं पर भाव अच्छे हैं
बातें सुंदर योग दिवस पर रचना