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जय जय जय जय जय श्री राम

जय जय जय जय जय श्री राम
मर्यादा के दुसरे नाम,
जय जय….
वन वासी भये तज के राज
इस जीवन के तुम कृपा निधान
जय जय….
मानवता के सूत्र पिरोये,
तुम शौर्य, तेज, सूरज के वंशज
इस जग में तुम काल अजय हो
तुम्हरे नाम में चारों धाम,
जय जय ….
धर्मात्मा तुम अधर्मि नाशक,
सर्वश्रेष्ठ,तुम मानव के नायक,
हर सुख का बस एक ही नाम
जय जय….
~अजित सोनपाल

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