ज़िन्दगी की उलझनें Geeta kumari 3 years ago ये ज़िन्दगी की उलझनें, काश ! कि ना होती ये गमों के साए, पीछे-पीछे ही चले आए बहुत रोके हमने मगर, आंखों में अश्क चले ही आए आप मिले ज़िन्दगी में, एक सुकून सा आया सलामत रहें आप, हमारी यही हैं दुआएं *****✍️गीता