जिस दिन से ज्योति कुमार 6 years ago जिस दिन से तुम्हारी नसीली आँख देख लिया ;मैने! लड़खराये –डगमगाये चलता हूँ।। चाहे चाय खाना से निकलु,, या तुम्हारे गली से निकलु। डगमगाये फिरता हूँ।। ज्योति