मीठा दर्द Rajendra Dwivedi 4 years ago यूं न मेरी मोहब्बत को रुसवा कर, ज़माने ने बहुत दर्द दी है। बस एक बार मिल रूह से रूह तक, चले जायेंगे हम यहाँ से ज़माने से किसे हमदर्दी है।। नवीन द्विवेदी