लड़ती रही जिंदगी से खुशियों के लिए Anjali Gupta 8 years ago लड़ती रही जिंदगी से खुशियों के लिए झगड़ती रही खुद से अपनों के लिए उम्मीद थी इक सच्चे प्यार की इस झूठी दुनिया में आंखे बंद करने की ख्वाहिश है सपनों के लिए