ज़िद्दी Abhilasha Shrivastava 5 years ago ये दिल बहुत ज़िद्दी है मेरा! ग़मों की दौलत जमा करता है; चोट दिल पर हो या जिस्म पर हर ज़ख्म पे ग़ुमांं करता है।