क्या पाया नहीं तूने क्या माँग रहा है
कब का हुआ सवेरा अब जाग रहा है
भगवान् के सम्मुख ख़ुद का कर समर्पण रनछोण दास जैसे क्यूँ भाग रहा है
क्या पाया नहीं तूने क्या माँग रहा है
कब का हुआ सवेरा अब जाग रहा है
भगवान् के सम्मुख ख़ुद का कर समर्पण रनछोण दास जैसे क्यूँ भाग रहा है