छंद कुण्डली. मंहगाई राकेश 3 years ago आय न सके बढ़ाय पर, मंहगाई की मार जीवन जीना कठिन है सुन लीजै सरकार सुन लीजै सरकार, कैसे परिवार चलाए गर्दन कटे गरीब, नहीं तलवार चलाए कह पाठक कविराय, बढ़ेगी यूँ महगाई पिछड़ जाएंगे लोग, और होगी कठिनाई