जीवन की सत्यता Pragya 2 years ago जीवन की सत्यता में झांक कर अपने फर्ज को अदा करना सीखा है। गिरे तो कई बार पर गिर कर उठना भी सीखा है। यूं तो हम खड़े रहते हैं अपने फैसलों पर, पर कभी-कभी अपनों की खुशियों की खातिर अपने फैसले को बदलना भी सीखा है।