दरार राही अंजाना 6 years ago टूटकर बिखर जाने को तैयार रहती है, गर कच्ची हो चिनाई तो दीवारों में दरार रहती है, इस ज़मी पर आकर मुम्किन है मोहब्बत की गिरफ्त में आना, नहीं तो सारी ज़िन्दगी यूँही ख़ाकसार रहती है।। राही (अंजाना)