अपनी पूरी कमाई तूने मय पर लूटा दी…..
ए – ग़ालिब….
जरा मुझे ये बता…
उस दो घूंट में , जिंदगी जीने का स्वाद कितना है….
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पंकजोम ” प्रेम “
अपनी पूरी कमाई तूने मय पर लूटा दी…..
ए – ग़ालिब….
जरा मुझे ये बता…
उस दो घूंट में , जिंदगी जीने का स्वाद कितना है….
पंकजोम ” प्रेम “