बेवफा तो नहीं… Pragya 3 years ago एक कवि हो कर एक कवि का दर्द कहां समझते हो, प्यार करते हो मुझसे पर मुझको कहां समझते हो ? नींद में लेते हो तुम किसी और का नाम….! बेवफा तो नहीं पर वफादार भी नहीं लगते हो।