Site icon Saavan

मुक्तक

तेरे लिए मैं तन्हा होता जा रहा हूँ!
तेरे लिए मैं खुद को खोता जा रहा हूँ!
अश्कों में मिल गयी हैं यादों की लहरें,
तेरे लिए मैं तन्हा रोता जा रहा हूँ!

मुक्तककार- #महादेव’

Exit mobile version