दूसरों को पढाने लगे तो खुद को पढ़ना भूल गए,
चेहरे ऐसे भी थे जिन्हें हम गढ़ना भूल गए,
समझ ली मोहब्बत की किताब सबसे पहले हमने,
तो बाकी सारे विषयों से हम जुड़ना भूल गए।।
राही (अंजाना)
दूसरों को पढाने लगे तो खुद को पढ़ना भूल गए,
चेहरे ऐसे भी थे जिन्हें हम गढ़ना भूल गए,
समझ ली मोहब्बत की किताब सबसे पहले हमने,
तो बाकी सारे विषयों से हम जुड़ना भूल गए।।
राही (अंजाना)