चाभी के जैसे Pragya 4 years ago तुम्हारा इंतजार किया आम पकने की तरह तुम रोज ख्वाब में आए शाम की चाय की तरह तुम खो गए चाभी के जैसे मगर मैनें ढूंढा है तुम्हें मूंगफली के दाने की तरह