हमें औरों-सा ना समझ… मोहन 4 years ago हमें औरों सा ना समझ, आंखों से और बातों से, इरादों को भांप लेते हैं। ये झाड़ पर चढ़ाना, मीठी-मीठी बातें बनाना, यहां नहीं चलेगा, हम स्वार्थ की चाह को, दिमाग़ से अपने; थोड़ा जांच लेते हैं।