जब किसी को चाहना खता हो जाती है!
खुशी ज़िन्दगी से लापता हो जाती है!
बेनूर नज़र आती हैं महफिलें सभी,
साँस-ए-जिस्म दर्दों की पता हो जाती है!
Composed By #महादेव
जब किसी को चाहना खता हो जाती है!
खुशी ज़िन्दगी से लापता हो जाती है!
बेनूर नज़र आती हैं महफिलें सभी,
साँस-ए-जिस्म दर्दों की पता हो जाती है!
Composed By #महादेव