रहमत तेरी की तूने की मेरी हर खता माफ
डूब तेरी माफिओ में मैं थोड़ी और पी गया
पीने के शौक में कब इतना तुझमें खो गया
तेरे नाम को घोल कर तेरी ही रहमतो में
पी इतनी के बस ज़िंदगी तुझमें जी गया
…… यूई
रहमत तेरी की तूने की मेरी हर खता माफ
डूब तेरी माफिओ में मैं थोड़ी और पी गया
पीने के शौक में कब इतना तुझमें खो गया
तेरे नाम को घोल कर तेरी ही रहमतो में
पी इतनी के बस ज़िंदगी तुझमें जी गया
…… यूई