हर एक बूँद..
आसमान से गिरती हर एक बूँद की अपनी एक कहानी है ..
एक गगन से गिरने के बाद भी सब को अपनी मंजिल खुद ही पानी है ..
कोई किसी खेत में फसलो को महका जाये गी..
तो कोई मिट्टी में गिर सोंधी सोंधी खुशबु लए गी..
कुछ मिल कर कही किसी खड्डे में कीचड का सबब बन जाये गी ..
तो कुछ मिल कर किसी की छत टपकाए गी ..
कोई किसी के चहरे में गिर उसे मीठी मुस्कान दे जाये गी …
तो कोई किसी के आंसू से मिल उसके गम को छुपाये गी ..
कभी किसी के लिए यादो की बारात लाएगी ये बूंदे
कुछ पुराने किस्से चाय की चुस्की में फिर दोहये गी ये बूंदे …
हर एक बूँद अपनी कहानी में नए किरदार जोड़ती जाये गी…
कभी किसी को उम्र भर की हसी तो किसी की आँखो में नमी सजाये गी…
हर मानसून की ,हर बारिश की ,हर बूँद की तरह
एक और मानसून की बूंदो को किसी के किस्सों में
या यादो के पन्नो के हिस्सों में ,
जगह मिल ही जाये गी एक और कहानी की …
very nice
Very nice