Categories: शेर-ओ-शायरी
UE Vijay Sharma
Poet, Film Screenplay Writer, Storyteller, Song Lyricist, Fiction Writer, Painter - Oil On Canvas, Management Writer, Engineer
Related Articles
कविता : मोहब्बत
नदी की बहती धारा है मोहब्बत सुदूर आकाश का ,एक सितारा है मोहब्बत सागर की गहराई सी है मोहब्बत निर्जन वनों की तन्हाई सी है…
मेरा इशक – तेरा इशक
है यह तेरा भी इशक और है तो मेरा भी इशक ना कम तेरा इशक ना कम मेरा इशक दो एह्सासो का मिलन…
अब गुनाह में नीयत नहीं देखी जाती
अब गुनाह में नीयत नहीं देखी जाती अब प्यार में सीरत नहीं देखी जाती सब के अपने फलसफे ,सबके अपने तजुर्बे अब उम्र के लिहाज़…
तेरा इशक
मेरा इशक तेरे मन में सिमटा हुआ परिंदा तेरा इशक मेरे मन को अपने संग ऊङाता हुआ परिंदा मेरा इशक तेरे आँचल में सिमटी…
मेरा इशक
मेरा इशक झील का रुका हुआ पानी तेरा इशक नदी की बहती हुई धारा मेरा इशक वोह आग, जो आग को पानी कर दे…
रफ्ता रफ्ता सरकती मौत ….very nice sir!
Good One!
Good
रफ्ता रफ्ता सरकती मौत देखी
यूई ना मर पाया ना जी पाया
वाह वाह