विनती

कहर कोरोना का छाया है
देखो आज संसार में।
त्राहि त्राहि कर रही है दुनिया
आओ प्रभु अवतार में।।
रक्तबीज का रक्त धरा पर
टपक दैत्य बन उत्पात किया।
कतरा कतरा पीकर काली
दुष्ट दैत्य का घात किया।।
वही वक्त है आया माता
जग की रक्षा फिर आज करो।
‘विनयचंद ‘की विनती माता
सुनो जगत में फिर फिर राज करो।।

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