गणपति

गणेश – चतुर्थी के शुभ अवसर पर —-
गणपति आज हमारे घर आए,
खुशियां बहुत साथ वो लाए।
साथ रहेंगे कुछ दिन हमारे,
हम भी खाएंगे लड्डू ,मोदक उनके सहारे।
उनके आने से घर महका – महका जाता है,
घर का आंगन, हर कोना चहका – चहका जाता है।
आरती करूं मैं, भोग लगाऊं,
पकवान बना कर उन्हें खिलाऊं।
पांव पड़ते नहीं ,आज मेरे जमीं पर,
गणपति आए आज मेरे घर।
उनकी भक्ति में कितने गीत गाए,
गणपति आज हमारे घर आए।
नहीं रहेंगे अब दुख के साए,
गणपति आज हमारे घर आए।
गणपति बप्पा मोरिया
मंगल मूर्ति मोरिया
सेवा में ✍️✍️—–गीता कुमारी

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Responses

  1. आपकी कविता की बात ही निराली है, जय हो, आप यूँ ही लिखती रहें, बहुत ही सुन्दर

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