हार हुई आज नारी की
हार हुई आज नारी की,
चढ़ी भेंट दुराचारी की
सारे-आम कत्ल कर गया,
ना आई उसे कुछ दया
बेहया घूम वो रहा है,
समाज क्यूं सो रहा है
मानवता मर रही है,
दानवता फली फूलती,
मानवता क्यूं डर रही है
ये भारत पर अभिशाप है,
होता निश-दिन यहां पाप है
जिस मुल्क में, कातिलों के खिलाफ
फांसी की सज़ा ना हो,
तो ये कैसा इंसाफ़
फ़िर क्यूं होगा इन्हें खौफ
कातिल घूम रहे बेख़ौफ़
कभी चार्ज-शीट दाखिल हुई,
कभी बयान गवाहों के
कभी कैसी लगी अर्जी,
कभी नासूर लगे अफवाहों के
फ़िर भी मासूम के घरवाले,
कई-कई वर्षों तक ,
राह तकें नतीजों की
कभी निर्भया कभी ,
कोई और बहन बेटी
क्यूं भेंट चढ़ी दुराचारी की..
*****✍️गीता
आज दिन में बल्लभ गढ़, हरियाणा की निकिता तोमर की अपहरण की कोशिश की गई, कोशिश में नाकामयाब युवक ने सरे आम गोली मारकर निकिता की हत्या कर दी ।
बहुत ही दुख की बात है।
मार्मिक प्रस्तुति
🙏🙏
अत्यंत दुःखद कर देने वाली घटना के दृष्टिगत आपने बहुत सुंदर कविता लिखी है गीता जी, यही होता है कविता दर्द से ही उपजती है। यह सच्ची, और यथार्थ कविता है। बहुत अभिवादन
आपने बिल्कुल सत्य कहा सतीश जी , बहुत ही दुखद घटना है ये समाचारों में सुनकर बहुत ही दुख हुआ है । मात्र 19-20 वर्ष की लड़की के साथ ये हुआ ।बस मन के भाव कागज़ पर उतर गए बेहद दर्द के साथ । मनोभावों को समझने हेतु आपका बहुत धन्यवाद आपका सर 🙏
बहुत दुःखद घटना
ऐसा ही हो रहा है रोज और लोग कहते हैं अच्छे दिन आ गये
दुखद तो है प्रज्ञा जी । पकड़ा गया है वो लड़का, हिरासत में है ।