Nazm

December 30, 2016 in Other

” इंतज़ार ”

सोचा भी न था मैंने
वो मुलाक़ातें
मेरे ख़्वाबों का
मुक़द्दर बन जाएँगी
उसकी बातें, उसकी यादें
मुझे तड़पायेगी
उसके नाम
मेरी सांसों में
बस जायेगा
और __ हर रात
मेरे ख़्वाबों में आके
वो मुझसे पूछेगी
” यावर ”
कब _____आओगे __

_________यावर कफ़ील

December 30, 2016 in Other

जाने मेरा शुमार किन में करे है…. तू
महफ़िल में ये हालत देखता नहीं मुझे

_________________यावर कफ़ील

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