Categories: शेर-ओ-शायरी
Ankit Bhadouria
A CA student by studies, A poet by passion, A teacher by hobby and a guide by nature. Simply I am, what I am !!
:- "AkS"
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शायरी संग्रह भाग 2 ।।
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कविता : मोहब्बत
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ख़त
गुज़रा ज़माना याद दिलाता है ख़त। अब बीता ज़माना कहलाता है ख़त। रूठे को मनाना, हाले-दिल बताना, अपनों को अपना बनाता है ख़त। ना हुई…
nice
shukriya Kuldeep ji
umda!
thaaaaaaanq uuuu dear !!
Good