नसीब

नसीब में नहीं है उसके पीछे क्या भागना रात रात भर जग कर ख्वाइशों के जुगनू बन्द करना ।

C.aa

शरजिल इमाम को देशद्रोही घोषित किया मगर C A Aपर कोई बड़ा फैसला अभी तक नहीं किया गया है क्यो इतनी देरी हो रही है…

मां का हाथ

ख्वाहिशों के जुगनू भी बंद कर दिए जाते हैं बोतल में जब मुकद्दर रूठ जाता है और जिंदगी भी मुंह फेर लेती है जब मां…

मुकद्दर

सब की असलियत सामने आ ही जाती है जब बुरा वक्त आता है तो साया भी साथ छोड़ देता है कोई नहीं साथ देता तब…

धीरज बांधकर

धीरज बांधकर रखता हूं हर वक्त पता नहीं किस्मत कब दे दे मात इसलिए अपने कर्तव्य करता रहता हूं और मुकद्दर अपने आप ही बनाता…

आसमान

आसमान धुंधला नजर आता है जब ख्वाबों की पट्टी आंख पर लिपटी होती है और नींद आवारा होती है।

अतिथि सत्कार

अतिथि सत्कार हमारे भारत की परंपराएं है इसे बरकरार रखना हमारा कर्तव्य है अतिथियों का सत्कार करो क्योंकि वह प्रभु के रूप में भी हो…

अतिथि सत्कार

अतिथि सत्कार हमारे भारत की परंपराएं है कैसे बरकरार रखना हमारा कर्तव्य है अतिथियों का सत्कार करो क्योंकि वह प्रभु के रूप में भी हो…

मेरा गांव

चाहता हूं, वो बहार मेरी हो, वो गुनगुनी सी धूप और टहनियौं की छांव मेरी हो, दरिया पर धूप की चमक और कुएं की नीर…

अमन की आशा

क्यों राजनीति करते हो, हिन्दू मुसलमान की। शायद भूल गए हो, दोस्ती रामप्रसाद बिस्मिल और अशफ़ाक़ुल्ला खान की। दोनों समुदयों ने बना लिया है, एक…

अटूट बंधन

सात वचनों और सात फेरों का अटूट बंधन आपका बंधा रहे हँसती रहें और मस्त रहें आप संग पिया के सजी रहें हर दिन हर…

बचपन

लौट रहा है बचपन दोबारा लॉक डाउन के माहौल में खेल रहे हैं वही पुराने खेल हम मिलके साथ में खो गया था बचपन हमारा…

मजदूर

कर दी हैं अब लाल वो राहें भारत माँ के वीरों ने नाप रहे हैं कदम कदम से मीलों दूरी भी तकलीफों से।।

मुक्तक

लकड़ी जली, कोयला हुई कोयला जले, राख रही अग्नि परीक्षा सीता की हुई राम जी की साख रही १७.०५.२०२०

एक बेटी

एक घर में जन्म लिया तो दूजे घर में ब्याही गई एक घर मे पाली बड़ी हुई दूजे घर की रानी बनी एक घर में…

लाकडाउन 4.00

आत्मनिर्भर बना स्वावलंबी बनो लाकडाउन 4.00 का यही है मंत्र मास्क लगा घर से निकलो हाथों को हरदम स्वच्छ रखो अपने पैरों पर खड़े होकर…

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