ज़िन्दगी ने मुझको जीना सिखा दिया
ज़िन्दगी ने मुझको जीना सिखा दिया अकेले होकर भी खुश रहना सिखा दिया रहती है यादें अब खुशियों के दरम्या यादों ने आसूंओ से दामन…
ज़िन्दगी ने मुझको जीना सिखा दिया अकेले होकर भी खुश रहना सिखा दिया रहती है यादें अब खुशियों के दरम्या यादों ने आसूंओ से दामन…
ज़िन्दगी मुझ से बस अपनी ही मनवाती है कभी मेरी सुनती नहीं बस अपनी ही सुनाती है… कभी जो पूछू सवाल उस से,माँगा करू जवाब…
मैंने ज्यादा किताब पढ़ा नही पर मुश्किल ए ज़िन्दगी ने बहुत कुछ सीखा दिया
ज़िन्दगी कोरा कागज़ थी हमारी तुमने कुछ रंग भर दिए आये हो तोह रुक जाओ इतनी जल्दी क्या जाने की पर रोक तोह हम सकते…
इतनी भी नाराज़गी ठीक नहीं की फासले उम्र भर का हो जाये पल भर का जीना है यारों बेगाने लोगों को छोड़ यहाँ अपनो से…
परत दर परत यूँही खुलती सी नज़र आती है ज़िन्दगी, उधेड़ती तो किसी को सिलती नज़र आती है ज़िन्दगी, हालात बदलते ही नहीं ऐसा दौर…
पहली बार जब रोया तोह भूख और प्यास थी दूसरी बार जब रोया स्कूल का पहला दिन था तिसरी बार जब रोया तब स्कूल का…
बचा कर चन्द सामान ले जाने की जद्दोजहद में, देखो कैसे जिंदगी को अपनी कोई डुबा बैठा है।। राही
ये जिंदगी थोडा अपनी रफ़्तार को धीमा तो कर हम जब तक कुछ समझे तू और आगे निकल जाती है।।
स्वप्न तेरे साथ ज़िन्दगी का देखकर, सदियाँ बीत गई ‘राही’ की सोते सोते।। राही (अंजाना)
ज़िन्दगी एक रेस है जिसमे दौड़ना ही होगा, वक्त रहते वक्त का मुँह मोड़ना ही होगा, कालचक्र का काम है चलना, चलेगा दोस्तों, हमें अपने…
कभी आइस– क्रीम की तरह पिघलती रही जिन्दगी, हवा की रूख की तरफ बदलती रही जिन्दगी, लाख समझया उसे पाने की जिद ना करो– पर…
कभी आइस– क्रीम की तरह पिघलती रही जिन्दगी, हवा की रूख की तरफ बदलती रही जिन्दगी, लाख समझया उसे पाने की जिद ना करो– पर…
अरे ,ओ जिन्दगी से निऱाश आदमी सुनो— सड़क पर भटकते हो क़्यो सुनो। कुछ तो कर्म करो—– अपने स्थिति को देखो कुछ तो शर्म करो।।…
ज़िन्दगी जैसे शतरंज की बिसात हो गई, जिसने समझ ली उसकी जीत ना समझा जो उसकी मात हो गई, ज़िन्दगी जैसे…… बंट गए हैं चौंसठ…
माना के ज़हरीली ज़िन्दगी है मगर जिगर पाक रखते हैं, हम इन्सा नहीं जो दिल में कोई बात रखते हैं, यूँ तो गले लगाने की…
यूँ तो हल्की सी है ज़िन्दगी, वजन तो बस ख्वाइशों का है।। राही (अंजाना)
नयन अश्कों से भिगोता रहा हूं मैं जिन्दगी भर । गजल उनको ही सुनाता रहा हूं मैं जिन्दगी भर । दरख्ते उम्मीद अब है कहां…
अभी ज़िन्दगी की किताब के चन्द पन्नों को पटल कर देखा है। अपने बचपन को जैसे सरसरी निगाहों से गुजरते देखा है, यूँ तो खुशियों…
एक नज़र चाह कर भी मिलाने को तैयार नहीं, ज़िन्दगी एक पल भी सर उठाने को तैयार नहीं, नोच खाने को बैठी है एक ज़िन्दगी…
अभी ज़िन्दगी की किताब के चन्द पन्नों को पटल कर देखा है। अपने बचपन को जैसे सरसरी निगाहों से गुजरते देखा है, यूँ तो…
“**जिन्दगी के तजुर्बे”** ************ जिंदगी के तजुर्बे सताते बहुत हैं , हँसाते बहुत हैं , रुलाते बहुत हैं । कभी हों अकेले , हाँ बिल्कुल…
Happy mother day मेरे तरफ से एक छोटी सी कोशिश उम्मीद करता हूँ सबको पसंद आएगा €€€€€€€€€€€€€ ऐसी बेबसी भरी जिन्दगी देने की वजहा बता…
इस तरह उलझी रही है जिन्दगी,,,,,, कोन कहता है सही है जिन्दगी।।।।। उलझनो का हाल मै किससे कहु,,, आँख के रस्ते बही है जिन्दगी।।।। अब…
“ऐ दिल” तुझसे फुर्सत मिले जिन्दगी को तभी तो समझूँगा मैं। पारुल शर्मा
ज़िन्दगी का तुम भी एक उसूल बना लेना मोहब्बत ना करना, उसको फ़िज़ूल बना लेना देव कुमार
तन्हाई खुद-बा-खुद बन गयी हमारी ज़िन्दगी का एक हिस्सा चलो कोई ये तो नहीं कहेगा अब, ये तन्हा है दुनिया में………………..!! D K
………………….…Few lines on life …………………..…… Kabhi gam to kabhi khushiyon ki saugat hai zindagi. Kabhi dhoop to kabhi chhaon mein tahalatee ek aash hai zindagi…
बन्द कर अपने जज़्बातों के सभी दरवाजों को, लगाये लब्जों पर हम खांमोशी के बड़े तालों को। देखो किस तरह ढूंढने में लगे हैं…
कुछ लोग यूँ भी ज़िन्दगी बसर कर रहे है बीन कर कचड़ा सब्र कर रहे है ज़िन्दगी सिर्फ अमीरों की नहीं है ये तो तोहफा…
तलाशती ये ज़िंदगी कचरे के ढेर में रोटी. फेक देते हैं हम जो अनुपयोगी समझ के. कैसे करते गुजर बसर ये भी इंसान तो हैं…
ताश के पत्तों की तरह हो गई है ज़िन्दगी अपनी, जो भी आता है बस खेल कर चला जाता है………………!! …
इतना भी आसान नहीं, किसी को इश्क़ मे पा लेना पूरी ज़िन्दगी दाव पर लगनी पड़ती है, हर तरह से किसी का होना पड़ता है…………..!!…
सब कुछ तो छोड़ आया मैं अपना अतीत के पन्नों में सख्शियत मेरी अब इंसान -ऐ -आम रह गई है खुशियों की सुबह न जाने…
मौत ने तोहफा दिया ज़िन्दगी मिल जाए तो सवरती बिखरती कट जाती है रो रो कर गुजरती लम्हे सी हस्ती दिल खोल बोलती सोच कर…
ज़िन्दगी से क्या कहे आसान हो जाओ। खामियां खुद में है साहिल क़बूल करते है।। @@@@RK@@@@
ढूंढ रहे है जिंदगी जीने की वजह कोई। तुम्हारी यादें न हो है ऐसी जगह कोई।। , हक़ीक़त बयान करना अगर जुर्म है गर। फिर…
जिन्दगी भर भटका किये राह-ए-उम्मीद में, कभी पहुँच ही ना पाये दयार-ए-हबीब में, शाम ढ़ल गयी और हम यूँ ही बैठे रह गये,…
तेरा डूबना मुश्किल था “राही” मगर, क्या करते जब दूर तक साहिल नहीं था, कहाँ कब किससे गुफ्तगू करते “राही”, जब दूर तलक कोई सफर…
तुम्हें ज़िन्दगी के उजाले मुबारक अंधेरे हमें आज रास आ गए हैं तुम्हें पा के हम ख़ुद से दूर हो गए थे तुम्हें छोड़कर अपने…
हर एक कश के साथ धुंए में अपनी ज़िन्दगी उड़ाते हैं, देखो आजकल के मनचले कैसे अपने कदम भटकाते हैं, पाते हैं कितने ही संस्कार…
मैं उनसे चन्द पल की ही तो मोहलत माँगता था, ना जानें क्यों उन्होंनें जिन्दगी ही नाम कर दी हैं, मैं सोया हूँ नहीं दिन…
जिन्दगी का फलसफा कौन समझ पाता है हालात बदलते है नहीं वक्त गुजर जाता है कल ये हुआ,कल क्या होगा इस कशमकश में, पल पल…
एक ताज़ा ग़ज़ल के चन्द अश’आर आप हज़रात की ख़िदमत में पेश करता हूँ; गौर कीजिएगा… चाहता था जिसे जिन्दगी की तरह, वो रहा बेवफ़ा…
जब होश संभाला तो तुमसे जिंदगी को समझाया जाता था अब कुछ भी समझता हूँ तो तुम्हारा सृजन होता है जब मस्तिष्क का ताल दिल…
बहुत अमीर है जिन्दगी, लफ़्जो को सलीके से, बिठाने में वक्त बिताया करती, गर्मी में सर्दी, सर्दी में गर्मी, यूँ विपरीत परिस्थतियों को, मात देते…
**ज़िन्दगी ठहरी रही और उम्र आगे चल पड़ी::गज़ल** (मध्यम बहर पर) उस ख्वाब की ताबीर जब शम्म-ए-फुगन में जल पड़ी, तब ज़िन्दगी ठहरी रही और…
ज़िन्दगी खफा है अब मनाऊँ किस तरह दिल पे चोट है अब मुस्कुराऊँ किस तरह चोट कोई अंदर है जिससे टिस उठती है चिर से…
ज़िन्दगी में तजुर्बों की इक किताब रख चेहरे देख परख और उनका हिसाब रख !! मुझे बे-घर कर दिया नींद के फरिश्तों ने सूनी आँखों…
जान भी तू है ज़िन्दगी तू है जाने जाँ जाने शायरी तू है खुश्बू-ए-इश्क से धुली तू है मेरी सांसो मॆं बस गई तू है…
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