Categories: शेर-ओ-शायरी
Tags: ज़िन्दगी पर कविता
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ये ख्वाइशें
रेत के महलों की तरह ,हरदम ढहती है ये ख्वाइशें फिर भी हर पल क्यों सजती सवरती है ये ख्वाइशें उम्मीदे इन्ही ज़िंदा रखती सांसों…
10:30 AM
सर्दी की दस्तक़ तुम आओगी न ये कोहरे वाली रातें आने को है सर्दी की दस्तक हल्की हल्की सुनाई दे रही है थोड़ा जल्दी आना,…
हल्की हल्की सी हवा जो ये बह रही है।
हल्की हल्की सी हवा जो ये बह रही है। न जानें क्या है जो ये मुझसे कह रही है।। , तन्हाइयों को देखा है मैंने…
उनके सपनों का भारत
वज़न उठता नहीं तुमसे दो मण भी कहां गई शक्ति तुम्हारे यौवन की और कहां है अभिव्यक्ति तुम्हारे मन की। चलो ये वज़न तो…
ज़िन्दगी
………………….…Few lines on life …………………..…… Kabhi gam to kabhi khushiyon ki saugat hai zindagi. Kabhi dhoop to kabhi chhaon mein tahalatee ek aash hai zindagi…
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Thank you
Nice
Thank you
Very nice lines