Mera gaon
मंजर वो आते हैं याद,
नहीं भूल सकती वो याद,
था छोटा सा गांव अपना,
कितने मस्त थे हम वहां,
सब कुछ लगता था अपना.
जो बन गया अब सपना,
वो था बचपन अपना.
लगे भूख तो खा लो अमरुद,
लगे प्यास तो चूस लो गन्ना,
कितने प्यारे दिन थे अपने,
मुझे अभी भी है वो याद,
मास्टर जी को कुर्सी से गिराना,
दोस्तों संग आंख मिचोली खेलेना,
स्कूल की छुट्टी वक्त जोर से चिल्लाना,
पेड़ के पत्तों को नोच कर एक दूसरे पर फेंकना,
मुझे अभी भी है वो याद बारिश में
लेट कर चारपाई पर भीगना,
भीगना और भीगते रहना,
फिर पोखर मे छपाछप करना,
फिर दोस्तों संग नाव चलाना,
फिर दोस्तों संग झूला झूलना,
फिर दोस्तो संग पतंगे उड़ाना,
नहीं भूल सकती वो याद,
नहीं भूल सकती वो याद |
वाह
Thanks
Nice
Thanks
Bahut khub
Thanks
वाह
Thanks
Waah
Thanks
अदभुत
Thanks
सुंदर चित्रण
Thanks
Wah