जीवन रेखा
जीवन की रेखा
बहुत लम्बी देखकर
मेरी आँखों में
आँसू आ गये
आखिर अभी और कितनी
तकलीफें झेलनी हैं मुझे !
कब तलक दर-दर की ठोकरें खानी हैं
कब तलक आँसू यूं ही बहाने हैं
यही सोंचकर रो पड़ी मैं
उदास हो गई
अपने हाथों में जीवन रेखा लम्बी देखकर…!!
nice
हृदय स्पर्शी रचना
सुन्दर अभिव्यक्ति
अतिसुंदर भाव