अंधेरे से डरो ना

अंधेरे से डरकर ना भागो,
उठो मोह को त्याग कर जागो।
धरा को रोशन करके प्यारे,
कटुता के झोंके से राह ना त्यागो।।

✍महेश गुप्ता जौनपुरी

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