लतड़ पतड़ स्यां स्यां (गढवाली हास्य)
लतड़ पतड़ स्यां स्यां
बल लतड़ पतड़ स्यां स्यां
हाई रे मेरी फ्वां फ्वां
नोना बेरोजगार छन
अभी नि आई कालो धन
लतड़ पतड़ स्यां स्यां
बल लतड़ पतड़ स्यां स्यां
मंत्री जी की गाडी बल
दिनी छाई फुल होरन
सड़की मा बल क्वी नि घूमा
साइड दी दिया तुम फ़ौरन
लतड़ पतड़ स्यां स्यां
बल लतड़ पतड़ स्यां स्यां
हाई रे मेरी फ्वां फ्वां
कुर्सी मा बिराजमान
उत्तराखंड का बड़ा पधान
दारू की फ़ैक्टरी लागली
जनता को बल कुञ्ज घाण
लतड़ पतड़ स्यां स्यां
बल लतड़ पतड़ स्यां स्यां
हाई रे मेरी फ्वां फ्वां
छुटी गयी घर बार
अभी तक नि आई रोजगार
कैसे आस लगोली जनता
चुपचाप स्यूणी अत्याचार
लतड़ पतड़ स्यां स्यां
बल लतड़ पतड़ स्यां स्यां
हाई रे मेरी फ्वां फ्वां
वाह वाह, कि बात छु, भौते भलि कविता
धन्यवाद दाज्यू🙏🙏🙏🙏🙏
बहुत सुंदर
🙏🙏
सुंदर
Dhanyawaad sir