हैसियत

एक औरत अपने आठ महीने के बेटे के संग बीच चौराहे पे आयी। वह हमेशा की तरह एक मैली थैली में से एक कटोरा निकाल…

आलम

मुहब्बत के नश्तर मिटाने वाले, तुझे क्या पता है चाहत ए आलम। तू ने कभी मुहब्बत 💘की ही नहीं, तू क्या समझे मेरे दर्द ए…

आ अब लौट चले

अब छोड़ चले हम परदेश । जब से लगी किस्मत में ठेस ।। घर परिवार में मिल जायेंगे । वहीं पे रूखी सुखी खायेंगे।। एक…

दिल हार गया

गये थे परदेश दो वक्त के रोटी कमाने। क्या पता था करोना आएगा दिल जलाने।। दिल में सपने ले के, चले थे हम परदेश ।…

शाहील

अश्कों के समंदर में ए ग़ालिब, गोता लगाए जा रहा हूँ मै। शाहील मुकद्दर में है या नहीं, बस यही सोचे जा रहा हूँ मैं।।

गलतफहमी

बारह वर्ष की बब्ली कोचिंग पढ कर घर आयी। वह चुपचाप अपने कमरे में जा कर रोने लगी। जब बब्ली की माँ को पता चला…

यही कहते है

पागल, आवारा, लोफर, दीवानापन, यही इनाम मिला है मुझे। कागज की किश्ती दरिया में नहीं चलती, यही कहते हैं वो मुझे।।

खाश

ज़िन्दगी में गर किसी को, कोई खाश नहीं रहता। किसी को आज किसी का, इंतजार ही क्यों रहता।।

क्यों

सावन मे सखी मन 💕 क्यों बहके । सारे पपीहा पेड़ पर क्यों चहके।। काली घटा प्रेम रुत क्यों ले आई। उसके आने से मन…

दिलवाले

मिट जाओगे , पाक मुहब्बत को खाक में मिलाने वाले। आसमान के, कदमों पे झुका देंगे हम है वो दिलवाले।।

नकाब

एक नकाब है चेहरे का ,दूसरा नकाब है हिजाब का। हमने कयी गुलाब देखे है पर ,देखा न चेहरा जनाब का।।

कोरोना चालीसा

कोरोना कोरोना कहते हो कोरोना से क्यों डरते हो। शाम सवेरे जब देखो कोरोना चालीसा भजते हो।। कोरोना के डर से तुम कोरोना की उपासना…

दो गज की दूरी

आओ साथी मास्क लगाए। अपनो से दो गज की दूरी बनाये।। स्वस्थ खुशहाल तो देश खुशहाल। यही मंत्र सभी को काम आए।। हर मर्ज के…

नागन

ए नागन ज़रा देखें तो तुझ में कितना है जहर। तूने अनगिनत आशिकों के दिल ढाया है कहर।।

तारीफ़

फलक के सितारे भी तारीफ़ करते हैं तेरी अदा को। जरा मैं भी तो देखूं खुदा ने किस कदर बनाया है आपको।।

थप्पड़

उनका एक थप्पड़ इश्क़ में घी का काम कर गया। बुझे चिंगारी को बेशर्म शोला और शबनम बना दिया।।

मय

मै अपनी जवानी गुजार दी मय के मयख़ाने में। अब तो बस खाली पैमाना बच गया मेरे जिंदगानी में।।

बेताब

एक तरफ सावन के बरसात तो दूसरे तरफ अश्कों के शैलाब। जब जब बैरी कँगना खनके तब तब दिल हो जाए बेताब।।

महफूज

दिल के वीराने में फिर, उल्फते गीत गा रहा है कोई। महफूज धड़कनो में मुद्दत बाद, एहसास दे रहा कोई।।

मय

ए आँखें, ए होंठ किसी मय से कम नहीं। वो मय किस काम का जिस मय में आप नहीं।।

कयानात

काली स्याह जुल्फे तेरी, काली घटा पे कयामत ढाती है। गर बिखरा दे अपनी जुल्फ, मेरी कयानात में रौशनी आ जाती है।।

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