बर्बाद

मैने दिल को कितनी बार समझाया, उसे याद न कर वो अब किसी और की है। उसके लिए खुद को बर्बाद मत कर। माना मुश्किल…

ख्वाहिश

समझदार हो गर, तो फिर खुद ही समझो। बताने से समझे तो क्या फायदा है॥ जो हो ख़ैरियतमंद सच्चे हमारे, तो हालत हमारी ख़ुद ही…

पहला प्यार

पहला प्यार सुनते ही उछल पड़ता है ख्यालों का असीम समन्दर पर समझ न आता क्या लिखूं बस तुम वैसे ही थे जैसे खिल उठता…

चाह छोटी है.

अमीरी है तो जन्नत है गरीबी है तो जिल्लत है, वहाँ भी मौत देखी है जहाँ पग -पग मे दौलत है, हवेली है बडी़ फिर…

माँ

हर दर्द मां सहती रही, पूरी मेरी हर बात की., हर जिद को मेरी मान के हर वक्त मेरे साथ थी, अब मै बडा़ जबहो…

~~”मजदुर”~~

~~”मजदुर”~~ ..वह ‘सृजनकर्ता’ है ‘दुख’ सहके भी ‘सुख’ बांटता है.. ..वो ‘मजे’ में ‘चूर’ हैं, बस इसलिए ‘मग़रूर’ हैं.. ..हम ‘मजे’ से ‘दूर’ हैं, बस…

Ram

रात घनी अंधेर बड़ी है, फिर से राम पधारो जी | देव संत और मनुज उबारो, दुष्टन को संघारो जी || काहू सो कहूँ ब्यथा…

बेड़ियां

बेड़ियां जो पैरों में उसे घुंघरू बना लें आओ ज़िंदगी का मज़ा लें नाच ,गा लें औरों को नचा दें ज़िंदगी को खुशियों से सज़ा…

फासले

वक्त मिटायेगा फासले क्या पता कब वो मेरे हो जाये, मैं ही क्यो मानूँ हार जब भरी महफिल में भी सब अकेले हो जाये,

अहल ए दिल

अहद ए दिल नें ही तो हमें बर्बाद कर दिया,रकीबों की रकीबत का पर्दा-फाश कर दिया, उनके हर्फ़ों की चर्चा होने लगी हर तरफ ,…

ग़ैरों की बस्ती में , अपना भी एक घर होता

  ग़ैरों की बस्ती में , अपना भी एक घर होता.. अपने आप चल पड़ते कदम य़ु तन्हा ना य़े सफर होता…. वक्त बिताने को आवाज देती दीवारे साथ छुटने का ना कोई…

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